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नीतीश सरकार के कारण पटना में जल प्रलय के बाद कचरा प्रलय– राठौड़

पटना (जागता हिंदुस्तान) बिहार की नीतीश सरकार के भ्रष्ट तथा निकम्मी अधिकारियों के जमात ने पुनः राजधानी वासियों को नारकिय जीवन जीने में विवश कर दिया है। नीतीश सरकार में अधिकारियों को मिली खुली छूट का दुष्परिणाम है कि आज नगर निगम के सभी सफाई कर्मी हड़ताल पर हैं,तथा पटना में कचरा अथवा कचरा में पटना यह समझ पाना मुश्किल हो गया है। बिहार प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता राजेश राठौड़ ने इस मामले पर बिहार के नीतीश सरकार पर जमकर हमला बोला है। कांग्रेस प्रवक्ता राजेश राठौड़ ने कहा कि बगैर किसी विकल्प के दैनिक वेतनभोगी सफाई कर्मचारियों को हटाने की प्रक्रिया को आरंभ करना किसी भी दृष्टिकोण से न्याय संगत नहीं था। इसके बावजूद नगर निगम एवं नगर विकास विभाग के बड़े अधिकारियों ने अपने  दोषपूर्ण नीतियों के कारण आज संपूर्ण राजधानी में महामारी के फैलने की आशंका को बलवती कर दिया है। प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता ने अपने बयान में कहा है कि आउटसोर्सिंग के जरिए निजी कंपनियों को अनुचित लाभ देकर भ्रष्टाचार के नए रास्ते खोलने के लिए पटना नगर निगम के हजारों सफाई कर्मचारियों को जीवन-मृत्यु के बीच में लाकर सरकार ने खड़ा कर दिया है। एक तरफ तो प्रदेश बेरोजगारी के महामारी से जूझ रहा है। वहीं किसी को रोजगार उपलब्ध भी है तो निजी कंपनियों को लाभ देने के उद्देश्य से दैनिक मजदूरों के रोजगार छीने जाने की कोशिश की जा रही है। आज छह दिन से सफाई कर्मचारी हड़ताल पर हैं। राजधानी की स्थिति नारकीय हो चुकी है। इसके बावजूद सरकार के कान में जूं तक नहीं रेंग रहा। कांग्रेस प्रवक्ता राजेश राठौड़ ने कहा कि गत बरसात में भी बिहार सरकार के इन्हीं अधिकारियों के वजह से पटना में जल प्रलय आ गया था। अब बिहार सरकार के अधिकारी पटना में कचरा प्रलय कराना चाह रहे हैं। कांग्रेस प्रवक्ता राजेश राठौड़ ने बिहार सरकार से शीघ्र सफाई कर्मियों के साथ सम्मानजनक समझौता कर हड़ताल समाप्त कराने की मांग की। कांग्रेस प्रवक्ता ने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार स्वयं पहल कर पटना को नरक बनाने की दिशा में चल रहे प्रक्रिया पर रोक लगाएं।

 

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