डॉ. विणा कर्ण के निधन पर शोक सभा का आयोजन
पटना (जागता हिंदुस्तान) स्नातकोत्तर मैथिली विभाग, पटना विश्वविद्यालय में पूर्व विभागाध्यक्ष प्रो. (डॉ.) विणा कर्ण के देहान्त पर शोक सभा का आयोजन किया गया । इस मौके पर असिस्टेंट प्रो. सुधीर कुमार झा ने विणा कर्ण के व्यक्तित्व एवं कृतित्व पर प्रकाश डाला। डॉ. विणा कर्ण फरवरी 2003 से नवम्बर 2008 तक विभागाध्यक्ष रहीं। विश्वविद्यालय के मानविकी संकायाध्यक्ष 2/10/2006 से 31/11/2008 भी रहीं। साहित्य अकादेमी की मैथिली परामर्शदाता समिति में सदस्य के रूप में रहीं। उनकी प्रकाशित पुस्तकों में ‘अर्गला’ , ‘भावनाक अस्थिपंजर’, ‘तुभ्यमेव समर्पये एवं ‘स्वामी विवेकानंदक जीवन और सन्देश’ मुख्य है।
इस अवसर पर डॉ. सुधीर कुमार झा, असिस्टेंट प्रोफेसर, मैथिली विभाग ने विणा कर्ण को स्मरण रखने हेतु व्यक्तिगत स्तर पर विभागीय (पीजी) टॉपर को 5001 रुपये राशि की ‘डॉ० विणा कर्ण स्मृति पुरस्कार’ प्रति वर्ष देने की घोषणा की।
शोक सभा में उपस्थित लोगों में डॉ. हीरा मण्डल, पवन कुमार लाल दास, केशव कुमार, प्रियंका मिश्रा, काजल कुमारी, निधि नन्दन, राहुल राज गुप्ता एवं विभाग के ही छात्र लालू यादव मौजूद थे।